कम्युनिकेशन इंटरफ़ेस डिवाइस

communication interface devices

एक संचार इंटरफ़ेस डिवाइस संचार मशीनों को संचार नेटवर्क से जोड़ता है जो संचार मशीनों और प्रबंधन उपकरणों को इंटरकनेक्ट करता है| संचार इंटरफ़ेस डिवाइस मशीनों को संचालित या मॉनिटर करते हैं। संचार इंटरफ़ेस डिवाइस में मशीनों और संचार नेटवर्क के बीच संकेतों को परिवर्तित करने के लिए एक सॉकेट सर्वर शामिल होता है|

Various Communication Interface Devices

नेटवर्क इंटरफ़ेस कार्ड (Network Interface Card)

NIC एक एडाप्टर है जो सर्वर या वर्कस्टेशन पर नेटवर्क केबल को जोड़ने (Attach) के लिए एक कनेक्टर प्रदान करता है यह एक माइक्रोप्रोसेसर आधारित डिवाइस है, जिसमे हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर होते है जो पूरे नेटवर्क में संचार (communicate) करने और सभी संचार सबंधी प्रसंस्करण (processing) को करने के लिए बुद्धिमत्ता (intelligence) की आपूर्ति करते है| यह यह microcomputer में स्थापित (installed) एक PCB है| इसे नेटवर्क कार्ड, नेटवर्क एडाप्टर या NIC भी कहा जा सकता है, on board circuitry इसमें आवश्यक प्रोटोकॉल्स (protocols) और आदेश (Commands) प्रदान करता है|

NIC के पास सभी आने वाले (incoming) और जाने वाले (outgoing) डेटा पैकेट रखने (Buffering) के लिए अतिरिक्त मेमोरी होती है| यह नेटवर्क प्रदर्शन (Network performance) में सुधार करता है| NIC कार्ड 8 बिट, 16 बिट और वर्तमान में लगभग 32 बिट मानको में उपलब्ध है लेकिन NIC की आवश्यकता तभी होती है जब नेटवर्किंग क्षमता पहले से ही कंप्यूटर में उपलब्ध ना हो|

मॉडेम (Modem)

मॉडेम एक संचार उपकरण (communication device) है जिसका उपयोग साधारण टेलीफोन लाइनो के माध्यम से कंप्यूटर डेटा को प्रसारित (transmit) करने के लिए किया जाता है, क्योकि कंप्यूटर डाटा डिजिटल रूप में होता है लकिन टेलीफोन लाइने एनालॉग होती है| यह एक एन्कोडिंग के साथ साथ डिकोडिंग उपकरण (Device) भी है जिसका उपयोग डेटा ट्रांसमिशन में किया जाता है यह डिजिटल कंप्यूटर सिग्नल को एनालॉग टेलीफोन सिग्नल (modulation) में परिवर्तित करता है| और एनालॉग टेलीफोन सिग्नल को डिजिटल कम्प्यूटर् सिग्नल (demodulation) में परिवर्तित करता है| मॉडेम की गति kbps(किलो बिट्स पर सेकंड) में होती है| एक 56.6 kbps modem मानक (standard) है| यह दूरस्थ कंप्यूटर (remote computer) तक मदद पहुंचने मे मदद करता है| इस प्रकार घर पर उपस्थित कोई कर्मचारी (Employees) कंप्यूटर फाइलो तक पहुंच सकता है और अन्य कर्मचारियों के साथ फाइलो का आदान प्रदान भी कर सकता है, मॉडेम की आवश्यकता तभी होती है जब टेलीफोन लाइनो का उपयोग करके कंप्यूटर नेटवर्क विकसित किया जाता है|

मल्टीप्लेक्सर (Multiplexer)

यह डेटा ट्रांसमिशन का एक रूप है, जिसमे संचार चैनल एक ही समय में कई प्रसारण करता है multiplexer एक ऐसा उपकरण है जो बड़ी संख्या मे कम गति की संचरण लाइनो (low speed transmission lines) को उच्च गति लाइनो (high speed transmission lines) से जोड़ता है इस प्रकार मल्टीप्लेक्सर एक एकल संचार लाइन (single communication line) टर्मिनलो के बीच विभाजित कर सकता है मल्टीप्लेक्सर प्रत्येक डिवाइस को CPU पर एक लाइन में डेटा एकत्र करने और संचारित(transmit) करने के लिए scan कर सकता है| यह CPU और मल्टीप्लेक्सर से जुड़े उचित टर्मिनल्स तक डाटा भी पहुंचा सकता है, यह फंक्शन बहुत जटिल हो सकता है और कुछ प्रणालिओं (systems) पर एक अलग कंप्यूटर प्रोसेसर इस गतिविधि (activity) के लिए समर्पित है और इसे ” फ्रंट – एन्ड – प्रोसेसर ” के रूप में जाना जाता हे| उदा. टेलीफोन लाइने मल्टीप्लेक्सिंग का उपयोग करके एक ही समय में कई बातचीत (thousands of our conversation) उपलब्ध करा सकती है| प्रसारण (transmission) की एक बड़ी संख्या संचार चैनल के प्रकार और संचार दर पर निर्भर करती है|


फ्रंट एन्ड कम्युनिकेशन प्रोसेसर (Front – End Communication Processor)

ये प्रोग्रामेबल डिवाइस होते है , जो संचार प्रणाली (communication System) के कार्यो को नियंत्रित करते है| जिन कार्यो को मेनफ़्रेम कंप्यूटर को स्वयं ही निष्पादित (execute) करना होता है ऐसे कार्यो को करने में ये मेनफ़्रेम कंप्यूटर की सहायता करते है, यह एक minicomputer की तरह है जो मेनफ़्रेम कंप्यूटर और मॉडेम के बीच कार्य करता है इन कार्यो में कोड रूपांतरण (Code Conversion), डेटा का संपादन (Text Editing), सत्यापन (Verification), टर्मिनल की पहचान (Recognition of terminal) और transmission लाइनो का नियंत्रण शामिल है इसके साथ मेनफ़्रेम कंप्यूटर डेटा ट्रान्समीशन के बजाय डाटा प्रोसेसिंग पर अपना समय समर्पित कर सकता है|

प्रोटोकॉल कन्वर्टर्स (Protocol Converters)

जब तक संचार मानकों का एक सख्त पालन नहीं किया जाता है , dissimilar devices (ऐसे उपकरण जो आपस मई समानता नहीं रखते) एक दूसरे के साथ संवाद (communicate) नहीं कर सकते है इस तरह के मानको को आमतौर पर संचार प्रोटोकॉल (communication protocol) के रूप में जाना जाता है एक प्रोटोकॉल नियमो का ऐसा समूह है जो विभिन्न प्रकार की devices के बीच संचार को बनाए रखने के लिए उपयोगी होते है आमतौर पर एक संगठन कई प्रकार के computer, transmission channel, transmission mode और डाटा कोड का उपयोग करता है प्रोटोकॉल कन्वर्टर्स ऐसे विविध घटको और कम्प्यूटरो के बीच डाटा संवाद करने में मदद करते है| उदाहरण के लिए ASCII से डेटा को EBCDIC मे बदलना आवश्यक हो सकता है| प्रोटोकॉल रूपांतरण हार्डवेयर, सॉफ्टवेयर या हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर के संयोजन द्वारा किया जा सकता है|

हब (Hub)

हब एक हार्डवेयर device है जो LAN (Local Area Network) में एक सामान्य wiring पॉइंट प्रदान करता है नेटवर्क में उपलब्ध प्रत्येक नोड को twisted pair cable wires की सहायता से हब से जोड़ा जाता है, इसके बाद हब अन्य LANs, कंपनी के WAN या internet पर एक लिंक उच्च गति लिंक की सहायता से एक कनेक्शन प्रदान करता है| आमतौर पर यह half duplex mode पर काम करता है| एक हब सक्रिय और निष्क्रिय हो सकता है|


स्विचेस (Switches)

ये हार्डवेयर डिवाइस होते है जो किसी नेटवर्क पर सन्देश भेजने के लिए उपयोग किये जाते है स्विचेस एक नेटवर्क पर दो नोड्स के बीच लिंक को इंगित करने के लिए अस्थाई बिंदु बनाते है और उस लिंक के साथ डाटा भेजते है|

रिपीटर (repeaters)

जब डेटा को कई केबलो के माध्यम से प्रेषित (transmit) किया जाता है, तो सिग्नल ख़राब हो जाता है| ऐसी समस्याओ से बचने के लिए repeaters का उपयोग किया जाता है| पुनरावर्तक (repeaters) केबल के अगले भाग से गुजरने से पहले सिग्नल को बढ़ाता जाता है|

ब्रिज्स (Bridges)

Bridge का मुख्य कार्य दो LAN के बीच से डेटा प्राप्त करना और पास करना है जो सामान प्रोटोकॉल और टोपोलॉजी का उपयोग करते है, इस डेटा को सफलतापूर्वक प्रसारित (transmit) करने के लिए, ब्रिज सिग्नल को बढ़ाता है| इस प्रकार एक ब्रिज एक पुनरावर्तक (repeater) के साथ साथ एक कड़ी (link) का काम करता है|

गेटवे (Gateway)

गेटवे ब्रिज्स के सामान है क्यूंकि इनका उपयोग एक नेटवर्क से दूसरे नेटवर्क पर डेटा स्थानांतरित (transfer) करने के लिए किया जाता है लेकिन गेटवे का उपयोग उन दो नेटवर्क के बीच डाटा को स्थानांतरित करने के लिए भी जाता है जो की असामन्य प्रोटोकॉल और टर्मिनलो का उपयोग करते है| उदा. कई साल पहले , एक कंपनी के बिक्री विभाग(Sales Department) ने LAN स्थापित(installed) किया था| आज लेखा विभाग(Accounting Department) LAN स्थापित (installed) करना चाहता है लेकिन नवीनतम तकनीक (latest technology) का उपयोग करना चाहता है| अब ये नेटवर्क दो अलग अलग टोपोलॉजी और प्रोटोकॉल का उपयोग कर रहे है , अब इन दो अलग LAN को गेटवे का उपयोग करके जोड़ा जा सकता है|

राउटर (Router)

नेटवर्क में कई नोड्स के बीच डाटा को रूट (route) करने के लिए router का उपयोग किया जाता है| राऊटर कंप्यूटर ब्रिजों (bridges) के सामान है, लेकिन उपयोगकर्ता को नेटवर्क प्रवंधन (नेटवर्क मैनेजमेंट) उपयोगिताओं (utilities) को भी प्रदान कर सकते है यह नेटवर्क ट्रैफिक को प्रबंधित (manage) करने में बहुत बड़ी भूमिका निभाता है उनका काम यह सुनिश्चित करना होता है की डेटा उचित गंतव्य (Destination) पर पहुंचे| आमतौर पर LAN के लिए राऊटर की आवश्कयता नहीं होती है क्योकि नेटवर्क स्वयं ही अपने आंतरिक ट्रैफिक को संभाल सकता है विभिन्न नेटवर्को के बीच डाटा भेजे जाने पर राऊटर महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं|

राऊटर अपने गंतव्य (destination) को निर्धारित करने के लिए पैकेट की जाँच करते है वे नेटवर्क पर गतिविधिओ (activities) की मात्रा को ध्यान में रखते है और वे पैकेट को उस दूसरे राऊटर में भेजते है जो अंतिम गंतव्य (final destination) के करीब है| यदि एक नेटवर्क क्रम से बाहर है, तो राऊटर डाटा को किसी अन्य उपयुक्त मार्ग के माध्यम से रुट कर सकता है|

रिमोट एक्सेस डिवाइस (Remote Access Device)

रिमोट एक्सेस डिवाइस मॉडेम बैंक है जो इंटरनेट या किसी कॉर्पोरेट नेटवर्क के लिए प्रवेश द्वार के रूप में काम करते है| इनका कार्य किसी आवक (incoming) या जावक (outgoing) कनेक्शन को ठीक से रुट (route) करना है|


error: Content is protected !!