Profit and loss Account
(लाभ-हानि खाता )
किसी कंपनी में वर्ष के अंत में सभी खर्चो की आपूर्ति के बाद होने वाले profit या loss को निर्धारित करने के लिए जो account तैयार किया जाता है उसे Profit And Loss Account कहा जाता है। profit and loss account बनाने का प्रमुख उद्देश्य व्यवसाय के शुद्ध लाभ या शुद्ध हानि की जानकारी प्राप्त करना है। क्योंकि व्यापारी का मुख्य उद्देश्य लाभ कमाना होता है |
Profit and loss अकाउंट में दो पक्ष होते है एक डेबिट पक्ष और दूसरा क्रेडिट पक्ष | डेबिट पक्ष में व्यापार के सभी अप्रयक्ष व्यय (Indirect expenses) लिखे जाते है तथा क्रेडिट पक्ष में समस्त अप्रत्यक्ष आय (Indirect income) लिखी जाती है | इसके बाद दोनों पक्षों का योग लगाया जाता है,अगर डेबिट साइड का योग क्रेडिट से कम होता है तो लाभ होता है, जिसे शुद्ध लाभ (Net Profit) कहा जाता है। और यदि क्रेडिट साइड का योग कम होता है तो हानि होती है, जिसे शुद्ध हानि (Net Loss) कहा जाता है।
Profit And Loss Account के Debit Side में निम्नलिखित मदों को लिखा जाता है-
1. Office Expense (कार्यालय व्यय ) :कार्यालय से सम्बंधित खर्चों को Office Expense कहा जाता है। Office Expense में निम्नलिखित खर्चों को शामिल किया जाता है –
- Salaries (वेतन)
- Office Rent (कार्यालय का किराया )
- Office Lighting (कार्यालय का रौशनी)
- Printing Charges (छपाई व्यय)
- Stationery ( लेखन सामग्री)
- Telephone Expenses ( दूर भाष व्यय )
- Audit Fees (अंकेक्षण शुल्क)
2. Selling Expenses (विक्रय व्यय ) : विक्रय से सम्बंधित खर्चों को Selling Expenses कहा जाता है। Selling Expenses में निम्नलिखित खर्चों को शामिल किया जाता है –
- Carriage Out Ward (वाहरी भाड़ा)
- Advertising Expense(विज्ञापन व्यय)
- Commission (कमीशन)
- Sales Tax (विक्रय कर)
3. Other Expenses (अन्य ) : कार्यालय एवं विक्रय से सम्बंधित खर्चों के अतिरिक्त होने वाले खर्चों को Other Expenses कहा जाता है।Other Expenses में निम्नलिखित खर्चों को शामिल किया जाता है –
- Legal Expense (कानूनी व्यय)
- Interest On Loan ( ऋण पर ब्याज)
- Interest On Bank Loan ( बैंक ऋण पर ब्याज )
4. Losses (हानियाँ) : धन में होने वाली क्षति को Losses कहा जाता है । Losses में निम्नलिखित खर्चों को शामिल किया जाता है-
- Bad Debts (अप्राप्य ऋण)
- Depreciation (ह्रास)
- Discount Allowed (छुट दिया गया)
5. Expected Losses (संभावित हानियाँ) : भविष्य में होने वाले हानियों को Expected Losses कहा जाता है। Expected Losses में निम्नलिखित खर्चों को शामिल किया जाता है –
- Reserve For Taxation (करो के लिए संचित)
- Reserve For Bad Debts (अप्राप्य ऋणों के लिए संचित )
- Reserve For Repairs ( मरम्मत के लिए संचित)
Profit And Loss Account के Credit Side में निम्नलिखित मदों को लिखा जाता है –
1. Gross Profit ( सकल लाभ)
2. Incomes (आमदनी )
Incomes में निम्नलिखित मदों को शामिल किया जाता है :
- Rent Received (प्राप्त किराया )
- Interest Received (प्राप्त ब्याज)
- Discount Received ( प्राप्त छुट )
- Commission (प्राप्त कमीशन)
- Apprentice Premium (नवसिखिया प्रब्याज)
Profit and loss account in Tally
Tally में profit and loss account को देखने के लिए gateway of tally के अंतर्गत profit and loss option display होता है। इस option को “P ” शॉर्टकट के द्वारा open भी कर सकते है या फिर भी profit and loss option को select करके enter करते है ,जिससे profit and loss statement display होता है।
Profit and loss statement को डिटेल में देखने के लिए Alt+F1 शॉर्टकट की का इस्तेमाल करते है।profit and loss के द्वारा opening stock, closing stock, sales, purchase, gross profit ,gross loss ,indirect expense ,Direct expense ,Net profit ,net loss etc. की information प्राप्त की जा सकती है |
इस statement के द्वारा व्यापारी व्यापार में profit and loss की जानकारी और स्टॉक की जानकारी आसानी से प्राप्त कर सकता है। इस statement में हम यदि किसी special period के लिए profit and loss देखना चाहते है तो F12 option के द्वारा profit and loss को vertical profit format में show कर सकते है।
How to display profit and loss a/c in tally
Gateway of tally→ profit and loss → Display